राष्ट्रीय निगरानी दल ने रायगढ़ के भेंड्रा ग्राम पंचायत का किया दौरा, ग्रामीण विकास योजनाओं की प्रगति की गयी जाँच…

सम्पादक जर्नलिस्ट अमरदीप चौहान/अमरखबर.कॉम रायगढ़, 25 जुलाई 2025: ग्रामीण विकास मंत्रालय के तत्वावधान में राष्ट्रीय स्तर की निगरानी टीम ने आज रायगढ़ जिले के घरघोड़ा ब्लॉक में स्थित भेंड्रा ग्राम पंचायत का विस्तृत निरीक्षण किया। इस दल में निगरानी और मूल्यांकन (M&E) विशेषज्ञ श्री जगबीर सिंह और श्री राम सागर शामिल थे। यह दौरा 21 से 30 जुलाई 2025 तक चलने वाली उनकी निर्धारित यात्रा का हिस्सा है, जिसका मुख्य उद्देश्य रायगढ़ जिले में ग्रामीण विकास योजनाओं के कार्यान्वयन की प्रगति और प्रभावशीलता का मूल्यांकन करना है।

निरीक्षण का विवरण
राष्ट्रीय निगरानी दल ने भेंद्रा ग्राम पंचायत में विभिन्न ग्रामीण विकास योजनाओं की प्रगति का गहन मूल्यांकन किया। निरीक्षण के दौरान निम्नलिखित प्रमुख बिंदुओं पर ध्यान केंद्रित किया गया:
– आधिकारिक रिकॉर्ड्स की जांच: ग्रामीण विकास योजनाओं से संबंधित सभी आधिकारिक रिकॉर्ड्स की सटीकता, पूर्णता और दिशानिर्देशों के अनुपालन के लिए गहन जांच की गई।
– प्रधानमंत्री आवास योजना (PMAY): दल ने PMAY के तहत बन रहे आवासों के निर्माण स्थलों का दौरा किया, जहां निर्माण की प्रगति, गुणवत्ता और दिशानिर्देशों के पालन का मूल्यांकन किया गया।
– महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (MGNREGA): MGNREGA के तहत चल रहे कार्यस्थलों का निरीक्षण किया गया, जिसमें श्रमिकों की भागीदारी, परियोजना कार्यान्वयन और निर्मित बुनियादी ढांचे की गुणवत्ता की समीक्षा की गई।
– प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना (PMGSY): ग्रामीण सड़कों की स्थिति, निर्माण मानकों और रखरखाव की जांच की गई।
– राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (NRLM): स्वयं सहायता समूहों और आजीविका पहलों के प्रदर्शन का आकलन करने के लिए NRLM से संबंधित रिकॉर्ड्स की समीक्षा की गई।
– अन्य ग्रामीण विकास योजनाएं: ग्रामीण स्वच्छता, पेंशन योजनाओं और अन्य संबंधित कार्यक्रमों के कार्यान्वयन और लाभार्थियों तक पहुंच के बारे में पूछताछ की गई।

निरीक्षण के निष्कर्ष
निगरानी दल ने पाया कि भेंड्रा ग्राम पंचायत में आधिकारिक रिकॉर्ड्स सामान्य रूप से अच्छी तरह से रखे गए हैं, हालांकि कुछ मामूली कमियों को सुधार के लिए चिह्नित किया गया। PMAY के तहत आवास निर्माण में स्थिर प्रगति देखी गई, लेकिन दल ने परियोजनाओं को समयबद्ध तरीके से पूरा करने के लिए गति बढ़ाने की सलाह दी। MGNREGA कार्यस्थलों पर श्रमिकों की भागीदारी संतोषजनक पाई गई, और निर्मित परिसंपत्तियों की टिकाऊपन को और बेहतर करने के लिए कुछ सुझाव दिए गए। PMGSY के तहत निर्मित सड़कों की स्थिति अच्छी थी, लेकिन सड़क संकेतकों (साइनेज) में सुधार के लिए मामूली सुझाव दिए गए। NRLM के तहत स्वयं सहायता समूहों और आजीविका गतिविधियों में समुदाय की मजबूत भागीदारी देखी गई, जो ग्रामीण सशक्तिकरण की दिशा में एक सकारात्मक संकेत है। अन्य योजनाएं, जैसे ग्रामीण स्वच्छता और पेंशन योजनाएं, भी अपने उद्देश्यों के अनुरूप प्रगति कर रही हैं।

टीम की सराहना और सुझाव
राष्ट्रीय निगरानी दल ने भेंद्रा ग्राम पंचायत में ग्रामीण विकास योजनाओं के प्रभावी कार्यान्वयन और समुदाय की सक्रिय भागीदारी की सराहना की। दल ने स्थानीय प्रशासन को मामूली कमियों को दूर करने और परियोजनाओं की गति को बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित किया ताकि योजनाओं का अधिकतम लाभ ग्रामीण समुदाय तक पहुंच सके।

आगामी जाँच यात्रा
यह निरीक्षण रायगढ़ जिले में ग्रामीण विकास की प्रगति को सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। निगरानी दल कल, 26 जुलाई 2025 को, रायगढ़ जिले के चारभांटा और ढोरम ग्राम पंचायतों का दौरा करेगा, जहां वे समान रूप से ग्रामीण विकास योजनाओं का मूल्यांकन करेंगे। इस दौरे से ग्रामीण क्षेत्रों में विकास कार्यों को और मजबूती मिलने की उम्मीद है।
भेंद्रा ग्राम पंचायत में राष्ट्रीय निगरानी दल का दौरा ग्रामीण विकास के क्षेत्र में केंद्र और राज्य सरकारों की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। योजनाओं के प्रभावी कार्यान्वयन और समुदाय की भागीदारी से यह स्पष्ट है कि रायगढ़ जिले के ग्रामीण क्षेत्र विकास की राह पर तेजी से अग्रसर हैं। स्थानीय प्रशासन और ग्रामवासियों के सहयोग से इन योजनाओं का लाभ अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचने की उम्मीद है।
Inspection Team Expresses Displeasure Over Janpad CEO’s Absence During Block Inspections
लैलूंगा और घरघोड़ा, दो ब्लॉकों में हाल ही में निरीक्षण किया गया, लेकिन दोनों ही निरीक्षणों के दौरान जनपद सीईओ की अनुपस्थिति ने जाँच टीम को नाराज कर दिया। जाँच टीम ने जनपद सीईओ की इस गैर-मौजूदगी को गंभीर लापरवाही करार देते हुए अपनी नाराजगी व्यक्त की है।
निरीक्षण के दौरान इन ब्लॉकों में सरकारी योजनाओं के कार्यान्वयन और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए जनपद सीईओ की उपस्थिति अत्यंत महत्वपूर्ण मानी जाती है। लेकिन दोनों अवसरों पर उनकी अनुपस्थिति ने निरीक्षण प्रक्रिया पर सवाल उठाए हैं। जाँच टीम का मानना है कि सीईओ का यह रवैया विकास परियोजनाओं की निगरानी में गंभीर कमी को दर्शाता है।
जाँच टीम की नाराजगी इस बात को रेखांकित करती है कि सरकारी अधिकारियों से अधिक जवाबदेही और कर्तव्यनिष्ठा की अपेक्षा की जाती है, ताकि विकास कार्यों को प्रभावी ढंग से लागू किया जा सके। इस घटना ने क्षेत्र में प्रशासनिक जिम्मेदारियों के प्रति सजगता की आवश्यकता को उजागर किया है।