टीवीके नेता और अभिनेता विजय की चुनावी रैली में भगदड़: 39 की मौत, 65 से अधिक घायल; गरीब प्लानिंग और भीड़ प्रबंधन की कमी बनी कारण

एडिटर जर्नलिस्ट अमरदीप चौहान/अमरखबर.कॉम करूर (तमिलनाडु), 28 सितंबर 2025: तमिलनाडु के करूर जिले में तमिलागा वेत्री कझगम (टीवीके) के अध्यक्ष और प्रसिद्ध अभिनेता जोसेफ विजय (जिन्हें थलपति विजय के नाम से जाना जाता है) की चुनावी रैली के दौरान शनिवार शाम भयानक भगदड़ मच गई। इस हादसे में कम से कम 39 लोगों की मौत हो गई, जिसमें 9 बच्चे और 17 महिलाएं शामिल हैं। 65 से अधिक लोग घायल बताए जा रहे हैं, जिनमें से कई की हालत गंभीर है। यह घटना टीवीके की स्थापना के बाद पहली बड़ी सार्वजनिक सभा के रूप में आयोजित की गई थी, लेकिन खराब योजना और अपर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था के कारण यह त्रासदी बन गई।
घटना का पूरा ब्योरा: कैसे बनी भगदड़?
रैली करूर के एक मैदान में दोपहर 12 बजे शुरू होने वाली थी, लेकिन विजय का आगमन देरी से हुआ। सुबह 9 बजे से ही समर्थक इकट्ठा होने लगे थे, जिनकी संख्या दोपहर 2 बजे तक करीब 4,000 हो गई। ये समर्थक करूर के अलावा इरोड और कोयंबटूर जैसे पड़ोसी जिलों से आए थे। भीषण गर्मी में महिलाएं बच्चों के साथ और युवा समर्थक बिना खाना खाए अपनी जगह बनाए रखे हुए थे। आयोजकों ने विजय के अभियान गीत बजाकर भीड़ को व्यस्त रखा।
नामक्कल में एक अन्य रैली के बाद विजय करीब 4 बजे करूर पहुंचे, लेकिन वे शाम 6 बजे करूर के एक सड़क ओवरब्रिज पर दिखे। अंततः रैली स्थल पर उनका आगमन शाम 7 बजे हुआ। इस देरी के दौरान भीड़ दोगुनी हो गई, क्योंकि विजय के वाहन के साथ चल रहे समर्थक भी जुड़ गए। जब विजय का काफिला रैली स्थल की ओर बढ़ा, तो आयोजकों ने भीड़ को सड़क खाली करने के लिए मजबूर किया। पीछे खड़े समर्थक आगे नहीं बढ़ पाए, जिससे कई लोग बेहोश हो गए और जनरेटर तथा टीवी वैन वाली छत पर गिर पड़े। इसी दौरान भगदड़ मच गई, जिसमें लोग आपस में कुचलते चले गए।
गवाहों के अनुसार, जगह की कमी, लंबी प्रतीक्षा और पुलिस बल की अपर्याप्त उपस्थिति मुख्य कारण रहे। एक उत्तरजीवी बी. कनिष्का ने बताया, “भीड़ इतनी थी कि सांस लेना मुश्किल हो गया। पुलिस ने समय पर हस्तक्षेप नहीं किया।” एक अन्य गवाह कार्तिक ने कहा कि महिलाओं और बच्चों को प्राथमिकता नहीं दी गई।
मौत और घायलों का आंकड़ा: ज्यादातर युवा और बच्चे प्रभावित
प्रारंभिक आंकड़ों में 31 मौतें बताई गईं, लेकिन रविवार सुबह तक यह संख्या 39 पहुंच गई। मृतकों में अधिकांश 18 से 30 वर्ष के युवा थे, जो विजय के प्रशंसक थे। घायलों को करूर के सरकारी अस्पतालों में भर्ती कराया गया है, जहां आपातकालीन सेवाएं चला रही हैं। बचाव कार्य जारी है, और कई लोग अभी भी लापता बताए जा रहे हैं।
विजय की प्रतिक्रिया: “दर्द से तड़प रहा हूं”
अभिनेता-पालिटिशियन विजय ने घटना पर गहरा शोक व्यक्त किया। उन्होंने कहा, “मैं इस दर्द से तड़प रहा हूं। मेरे समर्थकों की जान चली गई, यह मेरे लिए असहनीय है।” विजय ने अपने कैडर और प्रशंसकों से एम्बुलेंस के लिए रास्ता खाली करने की अपील की। टीवीके ने मृतकों के परिवारों को 5 लाख रुपये की सहायता की घोषणा की है।
सरकारी और राजनीतिक प्रतिक्रियाएं
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने तुरंत संज्ञान लिया। उन्होंने मंत्री वी. सेन्थिल बालाजी, सुब्रमण्यम मा और जिला कलेक्टर से संपर्क कर प्रभावितों को तत्काल चिकित्सा सुविधा देने के निर्देश दिए। स्टालिन ने तिरुचिरापल्ली के मंत्री अंबिल माहेश को युद्ध स्तर पर सहायता पहुंचाने को कहा। उन्होंने एडीजीपी से स्थिति नियंत्रित करने और जनता से डॉक्टरों व पुलिस का सहयोग करने की अपील की।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसे “गहरा दुखद” बताया और तमिलनाडु सरकार को हर संभव सहायता का आश्वासन दिया।
अन्य राजनीतिक दलों ने भी शोक व्यक्त किया। एमएनएम नेता कमल हासन ने सदमे की अभिव्यक्ति दी और राज्य सरकार से उचित चिकित्सा व राहत सुनिश्चित करने की मांग की। तमिलनाडु कांग्रेस कमिटी अध्यक्ष के. सेल्वापेरुनथागई ने इसे सार्वजनिक सभाओं के लिए सबक बताया, जिसमें चिकित्सा आपात सेवाएं, पुलिस व्यवस्था, स्पष्ट निकास मार्ग और भीड़ नियंत्रण शामिल हैं। उन्होंने भविष्य में सख्त दिशानिर्देशों की मांग की। राज्य भाजपा अध्यक्ष नैनार नागेंद्रन ने करूर जिला अध्यक्ष को अस्पतालों में सहायता पहुंचाने के निर्देश दिए।
जांच और सबक: दोषपूर्ण योजना पर सवाल
घटना के पीछे मुख्य रूप से आयोजकों की खराब योजना और सुरक्षा की कमी को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है। जिला प्रशासन ने आपातकालीन हेल्पलाइन स्थापित की है: जिला कलेक्टरेट इमरजेंसी कंट्रोल रूम (04324-256306) या व्हाट्सएप (7010806322)। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि पूर्ण जांच के बाद दोषियों पर कार्रवाई होगी। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह घटना नए राजनीतिक दलों के लिए चेतावनी है, जहां प्रशंसक उन्माद भीड़ को अनियंत्रित कर सकता है।
यह त्रासदी तमिलनाडु की राजनीति में एक काला अध्याय बन गई है, जहां एक सुपरस्टार की लोकप्रियता घातक साबित हुई। टीवीके ने रैली रद्द कर दी है और शोक के रूप में तीन दिन का उपवास घोषित किया है। मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदनाएं।