छत्तीसगढ़ में साय कैबिनेट ने लिए कई अहम फैसले!! बैठक में जमीन के पट्टे से जुड़े पुराने सभी सर्कुलर को सरकार ने किया रद्द! इसके अलावा कृषि उपज मंडी अधिनियम में बाहर के खरीदारों को भी दिया जाएगा मौका !!
रायपुर। अब विस्तार से समझिए फैसले..
बिना रजिस्ट्रेशन खरीद सकेंगे कृषि उपज
किसानों को उनकी उपज का अधिकतम मूल्य मिले इसके लिए छत्तीसगढ़ कृषि उपज मंडी अधिनियम में संशोधन किया जाएगा. अब देश के कारोबारी कृषि उपज की खरीदी-बिक्री बिना रजिस्ट्रेशन के कर सकेंगे. इससे छत्तीसगढ़ राज्य के किसानों और फसल बेचने वालों को अधिकतम मूल्य मिल पाएगा.
पहले प्रदेश के बाहर के लोगों को यहां खरीदी में कई तरह की परेशानियां थीं, इसे सरल किया जाएगा. मंडी फीस का नाम बदलकर अब ‘मंडी फीस-कृषक कल्याण’ शुल्क किया जा रहा है. मंडी बोर्ड अपनी सालाना आय की 10 फीसदी राशि छत्तीसगढ़ राज्य कृषक कल्याण निधि में जमा करेगा. इसका इस्तेमाल किसानों के लिए होगा.
पट्टे से जुड़े पुराने सर्कुलर कैंसिल
प्रदेश के शहरी इलाकों में सरकारी जमीन के आवंटन, अतिक्रमित भूमि के व्यवस्थापन और जमीन मालिक को कब्जा देने से जुड़े नियमों में बदलाव किया जाएगा.इससे जुड़े सभी सर्कुलर कैंसल करने के आदेश कैबिनेट की ओर से जारी कर पुराने सभी सर्कुलर को कैंसिल किया गया है.
राजस्व और आपदा प्रबंधन विभाग ने शहरी इलाकों में अतिक्रमण की हुई जमीन के व्यवस्थापन, सरकारी जमीन के आवंटन, जमीन पर लगने वाले भू-भाटक के निर्धारण और वसूली प्रक्रिया से जुड़ा 11 सितंबर 2019 को सर्कुलर जारी किया था, इसे रद्द किया गया है.
शहरी इलाके में जारी किए गए स्थायी पट्टों का भूमि-स्वामी हक दिए जाने से जुड़ा 26 अक्टूबर 2019 को जारी सर्कुलर, नजूल के स्थायी पट्टों की जमीन को भूमि-स्वामी हक में बदले जाने के लिए 20 मई 2020 को जारी सर्कुलर भी रद्द किया गया है.
इसके अलावा नगरीय क्षेत्रों में सरकारी जमीन के आवंटन, अतिक्रमित भूमि के व्यवस्थापन और भूमि स्वामी हक देने से जुड़े 24 फरवरी 2024 को जारी सर्कुलर को भी निरस्त किया गया है. अब नए सिरे से सर्कुलर जारी होंगे और लोगों को पट्टा देने का काम उन्हीं नए निर्देशों के मुताबिक होगा.
कैबिनेट की बैठक में यह भी फैसला लिया गया कि इन सर्कुलर के तहत आवंटित भूमि की पूरी जानकारी राजस्व विभाग की वेबसाइट पर अपलोड की जाएगी. इनसे जुड़ी कोई भी शिकायत और आपत्ति होने पर संभागीय कमिश्नर इसकी सुनवाई करेंगे.
गुटखा से जुड़े टैक्स विधेयक में बदलाव
कैबिनेट की बैठक में छत्तीसगढ़ गुड्स एंड सर्विस टैक्स में संशोधन का विधेयक-2024 लाने पर फैसला लिया गया. जीएसटी काउंसिल द्वारा इनपुट सर्विस डिस्ट्रीब्यूटर के संबंध में इनपुट टैक्स क्रेडिट लिये जाने के नियम में बदलाव होंगे. सेंट्रल GST ने पान मसाला, गुटखा बनाने में लगने वाले मशीनों के रजिस्ट्री के लिए अधिनियम में कुछ संशोधन का फैसला लिया था. इसकी वजह से छत्तीसगढ़ GST नियम में भी बदलाव होंगे.
CGPSC की सालाना रिपोर्ट आएगी
छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग का 22वीं सालाना रिपोर्ट (01 अप्रैल 2022 से 31 मार्च 2023 तक की अवधि के लिए ऐनुअल रिपोर्ट) विधानसभा में रखी जाएगी. इसके लिए जिम्मेदारी सामान्य प्रशासन विभाग को दी गई है.
मोवा बाजार चौक अब से शहीद भरत लाल साहू चौक
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय और कैबिनेट के सदस्यों ने शहीद भरत लाल साहू की याद में बड़ा फैसला किया. अब मोवा बाजार चौक का नाम बदला जाएगा। इसे शहीद भरत लाल साहू चौक का नाम दिया जाएगा. नगर निगम को इसके लिए निर्देश दिए जाएंगे. भरत लाल साहू बीजापुर में IED ब्लास्ट में 17 जुलाई को शहीद हुए थे.
अनुपूरक बजट पर भी फैसला
अनुपूरक अनुमान साल 2024-2025 को विधानसभा में लाने का फैसला लिया गया है. ये अनुपूरक बजट को लेकर किया गया फैसला है.अनुपूरक बजट का मतलब है कि अतिरिक्त राशि की जरूरत पड़ना. यह बजट वित्त वर्ष के बीच में किसी विभाग या मंत्रालय की किसी योजना में अतिरिक्त राशि खर्च करने के लिए लाया जाता है.22 जुलाई से शुरू हो रहे सत्र में इस पर बात होगी.कैबिनेट ने फैसला लिया गया है कि, CPSC की ऐनुअल रिपोर्ट विधानसभा में पेश की जाएगी.ये रिपोर्ट कांग्रेस सरकार के समय की होगी। ये भी तय किया गया है कि मोवा बाजार चौक का नाम शहीद के नाम पर किया जाएगा.
इस बीच दुनियाभर में आई तकनीकी समस्या का असर कैबिनेट बैठक में भी दिखा. फ्लाइट रद्द होने के कारण प्रदेश के वित्त मंत्री ओपी चौधरी बैठक में शामिल नहीं हो पाए। वे दिल्ली में हैं।